शिक्षा के साथ संस्कार को जोडना बेहद आवश्यक है। अभिभावकों को अपने बच्चों को नैतिक मूल्यों से अवगत कराना उनका कर्तव्य है। उक्त उदगार शिक्षा एवं सूचना विभाग के महानिदेशक बंशीधर तिवारी जी ने स्वप्निल सिन्हा के संयोजन मे आयोजित”जन उजाला” के स्मारिका विमोचन व सम्मान समारोह को संबोधित करते हुए व्यक्त किए।
बता दें कि डी जी ने कहा कि एक बच्चे की जिंदगी थ्री व्हीलर की तरह होती है। एक पहिया बच्चा स्वयं,दूसरा पहिया स्कूल,वहीं तीसरा पहिया परिवार होता है। अतः परिवार का यह प्रथम दायित्व बनता है कि वह अपने बच्चे पर समुचित ध्यान दे। उन्होंने सामाजिक सम्बन्धों के ताना बाना के बिखरने पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि आज किसी मे भी धैर्य नहीं है। व्यक्ति से ज्यादा महत्व वस्तु का हो गया है।
समारोह को बेशिक शिक्षा के सेक्सन आफिसर डा. अशोक मिश्रा, संयुक्त निदेशक शिक्षा डा. आनन्द भारद्वाज, वरिष्ठ पत्रकार सुरेन्द्र अग्रवाल ने भी सम्बोधित किया।
साथ ही महानिदेशक ने उत्कृष्ट पत्रकारिता व उल्लेखनीय समाजसेवा हेतु जनउजाला के मुख्य सम्पादक स्वप्निल सिन्हा को सम्मानित किया गया। जनउजाला के उप मुख्य संपादक विवेक श्रीवास्तव, सहायक संपादक प्रमोद बेलवाल, निहारिका तिवारी,आशना श्रीवास्तव, निशा रावत, मनप्रीत कौर एवं सोनिका श्रीवास्तव को भी सम्मानित किया गया।
समारोह मे उपनिदेशक सूचना रवि बिजानिया, अभ्युदय वात्स्ल्यम की निदेशक डा गार्गी मिश्रा, पत्रकार शम्भूनाथ गौतम,पत्रकार बिजेंद्र यादव, पत्रकार रोहित गुप्ता सहित अनेक विशिष्टजनों की उपस्थिति रही। माध्यमिक शिक्षा विभाग के सभागार मे आयोजित इस समारोह का संचालन निशा रावत ने किया।